बुधवार, 9 सितंबर 2009

दक्षिणेश्वर काली मंदिर – कोलकाता

क्विज संचालन :- प्रकाश गोविन्द


नमस्कार !
क्रियेटिव मंच आप सभी लोगों का स्वागत करता है !

आप सभी को बहुत-बहुत बधाई जिन्होने इस पहेली मे हिस्सा लिया !
C.M. Quiz 4 – में जो सवाल पूछा गया था, उसका सही जवाब है :

दक्षिणेश्वर काली मंदिर – कोलकाता
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दक्षिणेश्वर काली मंदिर :
कोलकाता के उत्तर में विवेकानंद पुल के पास दक्षिणेश्वर काली मंदिर स्थित यह मंदिर बीबीडी बाग से 20 किलोमीटर दूर है। दक्षिणेश्वर मंदिर का निर्माण सन 1847 में प्रारंभ हुआ था। सन 1855 में मंदिर का निर्माण पूरा हुआ। यह मंदिर 25 एकड़ क्षेत्र में स्थित है ! दक्षिणेश्वर मंदिर देवी माँ काली के लिए ही बनाया गया है। भीतरी भाग में चाँदी से बनाए गए कमल के फूल जिसकी हजार पंखुड़ियाँ हैं, पर माँ काली शस्त्रों सहित भगवान शिव के ऊपर खड़ी हुई हैं। काली माँ का मंदिर नवरत्न की तरह निर्मित है और 46 फुट चौड़ा तथा 100 फुट ऊँचा है।

विशेष आकर्षण यह है कि इस मंदिर के पास पवित्र गंगा नदी जो बंगाल में हुगली नदी के नाम से जानी जाती है, बहती है। इस मंदिर में 12 गुंबद हैं । इस विशाल मंदिर के चारों ओर भगवान शिव के बारह मंदिर स्थापित किए गए हैं।

रामकृष्ण परमहंस ने माँ-काली के मंदिर में देवी की आध्यात्मिक दृष्टि प्राप्त की थी । माँ काली का मंदिर विशाल इमारत के रूप में चबूतरे पर स्थित है। ऊपर की दो मंजिलों पर नौ गुंबद समान रूप से फैले हुए हैं। गुंबदों की छत पर सुन्दर आकृतियाँ बनाई गई हैं। देवी की प्रतिमा जिस स्थान पर रखी गई है उसी पवित्र स्थल के आसपास भक्त बैठे रहते हैं तथा आराधना करते हैं !
क्विज रिजल्ट
इस बार की क्विज भी कठिन नहीं थी, फिर भी कई लोग मंदिर की बनावट को देखकर 'कन्फ्यूज' हो गए ! इसीलिये हलकान जी ने आते ही घोषित कर दिया कि यह मंदिर-मस्जिद-गुरुद्वारा या चर्च नहीं है ! खैर ! आशा है जो इस बार सफल नहीं हुए, अगली बार अवश्य सफल होंगे ! सीमा जी ने एक बार फिर बहुत जल्दी सही जवाब दिया, साथ ही मंदिर के बारे में विस्तृत जानकारी भी दी ! सीमा जी अब "क्रियेटिव मंच" की पहली चैम्पियन बनने से सिर्फ एक कदम दूर हैं ! उसके बाद सही जवाब दिया निर्मला कपिला जी ने और फिर मंदिर के विषय में सटीक जानकारी के साथ अल्पना जी ने सही जवाब दिया !

आईये देखते हैं प्रतियोगिता का पूरा परिणाम :
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द्वितीय स्थान : - सुश्री निर्मला कपिला जी
Nirmla Kapila
alpana verma ji

चौथा स्थान : - सुश्री शुभम जैन

पांचवा स्थान : - श्री विजय पाटनी जी
vijay patni
Shaheen Mirja
applauseapplause विजेताओं को बधाईयाँapplauseapplause
applauseapplauseapplauseapplause
सभी विजेताओं को हार्दिक बधाई !

सभी प्रतियोगियों और पाठकों को शुभकामनाएं !

आप लोगों ने उम्मीद से बढ़कर प्रतियोगिता में शामिल होकर
इस आयोजन को सफल बनाया, जिसकी हमें बेहद ख़ुशी है !



seema gupta ji , Nirmla Kapila ji, अल्पना वर्मा जी,
मियां हलकान जी, Vivek Rastogi ji, शुभम जैन जी,

shivendra sinha ji, Shaheen ji, Aditi Chauhan ji,
Anil Pusadkar ji, विजय पाटनी जी, ज़ाकिर अली ‘रजनीश’जी,
M.A.Sharma "सेहर" जी

आप सभी लोगों का धन्यवाद,

विशेष सूचना :
क्रियेटिव मंच की टीम ने निर्णय लिया है कि विजताओं को प्रमाणपत्र तीन श्रेणी में दिए जायेंगे ! कोई भी प्रतियोगी तीन बार प्रथम विजेता बनता है तो उसे 'चैम्पियन' का प्रमाण-पत्र दिया जाएगा !

इसी
तरह अगर कोई प्रतियोगी छह बार प्रथम विजेता बनता है तो उसे 'सुपर चैम्पियन' का प्रमाण-पत्र दिया जाएगा ! किसी प्रतियोगी के दस बार प्रथम विजेता बनने पर क्रियेटिव मंच की तरफ से 'जीनियस' का प्रमाण-पत्र प्रदान किया जाएगा !

---- क्रियेटिव मंच


यह आयोजन हम सब के लिये मनोरंजन ओर ज्ञानवर्धन का माध्यम है !

आपके पास कोई सुझाव हो तो हमें जरूर ई-मेल करें !
अंत में हम सभी प्रतियोगियों और पाठकों का आभार व्यक्त करते हैं,

जिन्होंने क्रियेटिव मंच की क्विज़ में शामिल होकर हमारा उत्साह बढाया !

अगले बुधवार को एक नयी क्विज़ के साथ हम यहीं मिलेंगे !


सधन्यवाद
क्रियेटिव मंच
creativemanch@gmail.com

C.M.Quiz -4 [इस प्रसिद्द ईमारत को पहचानिए]

क्विज संचालन :- प्रकाश गोविन्द


आप सभी को नमस्कार !
क्रियेटिव मंच आप सभी का स्वागत करता है !
बुधवार को सवेरे 9.00 बजे पूछी जाने वाली क्विज में
एक बार हम फिर हाजिर हैं !
सुस्वागतम
Welcome

लीजिये इस बार एक आसान सी क्विज है आपके सामने !
नीचे तस्वीर को ध्यान से देखिये और पहचानिये
इस इमारत को और बताईये कि -

यह क्या है और कहाँ है ???
quiz-4
तो बस जल्दी से जवाब दीजिये और बन जाईये
आज के C.M. Quiz-4 चैम्पियन


सूचना :
माडरेशन ऑन रखा गया है इसलिए आपकी टिप्पणियों को प्रकाशित होने में समय लग सकता है ! सभी प्रतियोगियों के जवाब देने की समय सीमा रात 9.00 तक है ! क्विज का परिणाम कल सवेरे 9.00 बजे घोषित किया जाएगा !
---- क्रियेटिव मंच

विशेष सूचना :

क्रियेटिव मंच की टीम ने निर्णय लिया है कि विजताओं को प्रमाणपत्र तीन श्रेणी में दिए जायेंगे ! कोई भी प्रतियोगी तीन बार प्रथम विजेता बनता है तो उसे 'चैम्पियन' का प्रमाण पत्र दिया जाएगा ! इसी तरह अगर कोई प्रतियोगी छह बार प्रथम विजेता बनता है तो उसे 'सुपर चैम्पियन' का प्रमाण-पत्र दिया जाएगा ! किसी प्रतियोगी के दस बार प्रथम विजेता बनने पर क्रियेटिव मंच की तरफ से 'जीनियस' का प्रमाण-पत्र प्रदान किया जाएगा !

C.M.Quiz के अंतर्गत अलग-अलग तीन राउंड (चक्र) होंगे ! प्रत्येक राउंड में 35 क्विज पूछी जायेंगी ! प्रतियोगियों को अपना लक्ष्य इसी नियत चक्र में ही पूरा करना होगा !

---- क्रियेटिव मंच

शुक्रवार, 4 सितंबर 2009

मनीषा कुलश्रेष्ठ की यादगार कवितायें

प्रस्तुति :- प्रकाश गोविन्द


मनीषा कुलश्रेष्ठmanishak
परिचय -
जन्म : 26 अगस्त 1967, जोधपुर
शिक्षा : बी एस सी, विशारद ( कथक)
एम. . ( हिन्दी साहित्य) एम. फिल.

प्रकाशित कृतियां -
बौनी होती परछांई ( कहानी संग्रह)
कठपुतलियां ( कहानी संग्रह)
कई विदेशी रचनाओं का हिन्दी अनुवाद

2001 में कथाक्रम द्वारा आयोजित भारतीय युवा कहानीकार प्रतियोगिता में विशेष पुरस्कार से सम्मानित।

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प्रेम बनाम प्रकृति
============
प्रेम और लिखना बंद करो अब!
पर क्यों ?
हाँ‚ ठीक ही तो कहते हो।
तीस पार कर अब क्या प्रेम !
तो फिर लिखूं‚
उन सत्यों पर जो
किरकिराते हैं पैर के नीचे ?
या अपने ही लोगों के
दोहरे मापदण्डों पर ?
अपने नाम के आगे
श्रीमती लगाने की बहस पर
या
स्त्रियों के समूह में ही
'च्च बेचारी… दो बेटियों की माँ '
होने की व्यर्थ की बेचारगी झेलने पर‚
किस पर लिखूँ ?
बलात्कारों पर‚
कानून की नाक के नीचे होती
दहेज हत्याओं पर ?
ये सारी कविताएं
लड़की होने की पीड़ाओं
से ही जुड़ती हैं क्या ?
अभी ही तो जागी हूँ‚
मीठी स्वप्निल नींद से
और अब
न नष्ट होती प्रकृति पर
लिखने को शेष है
और प्रेम की भी स्थिति वही है
संवेदनहीन और नष्टप्रायः।
अनकण्डीशनल
===========
कुछ रिश्ते
जो अनाम होते हैं
नहीं की जाती व्याख्या जिनकी
जिन्हें लेकर
नहीं समझी जाती
ज़रूरत किसी विश्लेषण की

इनके होने की शर्तें बेमानी होती हैं
बहुत चाव से इन्हें
' अनकण्डीशनल '
' निःस्वार्थ ' होने की संज्ञा दी जाती है
बस फिर कहां रह जाती है
गुंजाइश किसी अपेक्षा की

बस वे होते हैं‚ होने भर को
पड़े रहते हैं कहीं
अपनी – अपनी प्राथमिकताओं
के अनुसार सबसे पीछे
लगभग भुला दिये जाने को
या वक्त ज़रूरत पड़ने पर
उन्हें तोड़ – मरोड़ कर
इस्तेमाल कर लिये जाने को

सखा‚ बन्धु‚ अराध्य‚ प्रणयी …
और भी बहुत तरह से
इतना कुछ होकर भी
इन रिश्तों में
कुछ भी स्थायी नहीं होता

हालांकि इन रिश्तों से
होती है रुसवाई
खिसका देते हैं ये रिश्ते
पैरों के नीचे की ज़मीन
बहुत भुरभुरे होती हैं इनकी दीवारें

कभी भूल से भी इनसे
टिक कर खड़े न हो जाना !
सच कहना …
================
क्या क्या विस्मृत किये बैठे हो तुम
भूल गये पलाश के फाल्गुनी रंग
चटख धूप में मुस्कुराते अमलताश
और टूटी चौखट वाली खिड़की पर
चढ़ी वो चमेली और उसकी मादक गंध ?
पकते सुनहले गेहूं के खेत
वह सिके भुट्टों की भूख जगाती सौंधी खुश्बू ?
मुझसे तो कुछ भी नहीं भूला गया
न वो किले की टूटी दीवार पर
साथ बैठ गन्ने खाना
कैसे भूल जाती वो होली के रंग
साथ साथ बढ़ती बेल सी
हमारी कच्ची दूधिया उमर
और आर्थिक अभावों की कठोर सतहें
बड़ी संजीदगी से पढ़ते थे तुम
मैं वही आंगन में तुम्हारी बहनों के साथ
रस्सा टापती‚ झूला झूलती
भरसक ध्यान खींचती थी तुम्हारा खिलखिला कर
अपनी उपस्थिति का अहसास दिलाती तुम्हें
तुम पर धुन सवार थी
अभाव काट बड़ा बनने की
क्यों
जानकर अनजान रहे मेरे प्रेम से ?
मैं क्यों रातों तुम्हें
अपनी सांसों में पाती थी
विधना ने तो रचा ही था
बिछोह हमारे मस्तकों पर‚
तुमने भी वही दिन चुना परदेस जाने का
जिस दिन मेरे हाथों में
पराई मेंहदी रची थी सगाई की
मैं आज तक न जान सकी
कि तुम्हारे बड़ा बनने में
मेरा क्या कुछ टूट कर बिखर गया
जिसे आज भी सालों बाद
भरी पूरी गृहस्थी का सुख न जोड़ सका
सच कहना याद आती है न …
मेरी नहीं उन पकते खेतों की…

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The End
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गुरुवार, 3 सितंबर 2009

मैसूर पैलेस, कर्नाटक

क्विज संचालन :- प्रकाश गोविन्द


नमस्कार !
क्रियेटिव मंच आप सभी लोगों का स्वागत करता है !

आप सभी को बहुत-बहुत बधाई जिन्होने इस पहेली मे हिस्सा लिया !
कल C.M. Quiz – 3 में जो सवाल पूछा गया था,
उसका सही जवाब है : मैसूर पैलेस, कर्नाटक
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मैसूर पैलेस
चंदन की खूशबू लिए मैसूर अपने गौरवशाली इतिहास पर इठलाता नजर आता है। दक्षिण भारत के कर्नाटक राज्‍य में बसा यह शहर अपने विशाल महलों, सिल्‍क की साडि़यों व प्राकृतिक छटा के लिए मशहूर है। लकड़ी पर की गई खूबसूरत नक्‍काशी सभी को खूब लुभाती है। यहां का दशहरा उत्‍सव हर साल लाखों नियों को आकर्षित करता है।चंदन की खूशबू लिए मैसूर अपने गौरवशाली इतिहास पर इठलाता नजर आता है। दक्षिण भारत के कर्नाटक राज्‍य में बसा यह शहर अपने विशाल महलों, सिल्‍क की साडि़यों व प्राकृतिक छटा के लिए मशहूर है। लकड़ी पर की गई खूबसूरत नक्‍काशी सभी को खूब लुभाती है। यहां का दशहरा उत्‍सव हर साल लाखों सैलानियों को आकर्षित करता है।

मैसूर का हस्‍ताक्षर है मैसूर पैलेस। सुंदर कलाकृतियों, आकर्षक झाड़-फानूस व कीमती पत्‍थरों से सुसज्जित इस महल की खूबसूरती देखते ही बनती है। यह महल मैसूर में आकर्षण का सबसे बड़ा केंद्र है। मिर्जा रोड पर स्थित यह महल भारत के सबसे बड़े महलों में से एक है।

वुडेआर शासकों की निशानी को 1912 में ब्रिटिश शिल्‍पकार हेनरी इरविन ने डिजाइन किया था। 1897 में राजकुमारी जयलक्ष्‍मी के विवाह के वक्‍त लकड़ी का बना यह महल आग में जल कर खाक हो गया था। इसे फिर से बनने में 15 साल लगे। महल में एक कल्‍याण मंडप है कल्याण मंडप की कांच से बनी छत,दीवारों पर लगी तस्वीरें और स्वर्णिम सिंहासन इस महल की खासियत है। बहुमूल्य रत्‍नों से सजे इस सिंहासन को दशहरे के दौरान जनता के देखने के लिए रखा जाता है।

महल की दूसरी मंजिल में है दरबार हॉल। यहां खम्‍बों पर बारीक नक्‍काशी देखने को मिलती है। उत्‍सव के दिनों में 97,000 बल्‍बों से सजे इस महल की रौनक देखते ही बनती है।
क्विज रिजल्ट
आज की क्विज ज्यादा कठिन नहीं थी फिर भी कई लोग जवाब देने में असफल रहे ! आशा है अगली बार उनकी मेहनत रंग लाएगी ! सीमा जी ने बहुत तेजी दिखाई ! दो बार भटकने के बाद शीघ्र ही सही जगह पहुँच गयीं ! उन्होंने मैसूर पैलेस के बार में जानकारी भी दी, जिसके लिए उनका धन्यवाद ! उसके बाद सही जवाब दिया विजय जी ने और उसके उपरांत शुभम जैन जी ने !

आईये देखते हैं प्रतियोगिता का पूरा परिणाम :
प्रथम स्थान : - सीमा गुप्ता जी

द्वितीय स्थान : - विजय जी vijay
तृतीय स्थान : - शुभम जैन जी shubham jain
चौथा स्थान : - इशिता बोस जी Ishita Bose
पांचवा स्थान : - अदिति चौहान जी Aditi Chauhan
छठा स्थान : - मुरारी पारीक जी Murari Pareek


सभी विजेताओं को हार्दिक बधाई !
सभी प्रतियोगियों और पाठकों को शुभकामनाएं !

आप लोगों ने उम्मीद से बढ़कर प्रतियोगिता में शामिल होकर
इस आयोजन को सफल बनाया, जिसकी हमें बेहद ख़ुशी है !
आप सभी लोगों का धन्यवाद,

यह आयोजन हम सब के लिये मनोरंजन ओर ज्ञानवर्धन
का माध्यम है !

आपके पास कोई सुझाव हो तो हमें जरूर ई-मेल करें !
अंत में हम सभी प्रतियोगियों और पाठकों का आभार व्यक्त करते हैं,
जिन्होंने क्रियेटिव मंच की क्विज़ में शामिल होकर हमारा उत्साह बढाया !

अगले बुधवार को एक नयी क्विज़ के साथ हम यहीं मिलेंगे !
सधन्यवाद

क्रियेटिव मंच
creativemanch@gmail.com

बुधवार, 2 सितंबर 2009

C.M.Quiz -3 [इस प्रसिद्द ईमारत को पहचानिए]

क्विज संचालन :- प्रकाश गोविन्द



आप सभी को नमस्कार !
क्रियेटिव मंच आप सभी का स्वागत करता है !
बुधवार को सवेरे 9.00 बजे पूछी जाने वाली क्विज में
एक बार हम फिर हाजिर हैं !

सुस्वागतम


लीजिये इस बार एक आसान सी क्विज है आपके सामने !
नीचे तस्वीर को ध्यान से देखिये और पहचानिये
इस इमारत को और बताईये कि -
यह मंदिर, मस्जिद, गुरुद्वारा या चर्च है .. ?
या कोई दूतावास है ...या कोई किला है ... ??

quiz 3यह क्या है और कहाँ है ?

तो बस जल्दी से जवाब दीजिये और बन जाईये
आज के C.M. Quiz चैम्पियन

सूचना :
माडरेशन ऑन रखा गया है इसलिए आपकी टिप्पणियों को प्रकाशित होने में समय लग सकता है ! सभी प्रतियोगियों के जवाब देने की समय सीमा रात 9.00 तक है ! क्विज का परिणाम कल सवेरे 9.00 बजे घोषित किया जाएगा !

विशेष सूचना :

किसी भी प्रतियोगी के तीन बार प्रथम विजेता बनने पर 'क्रियेटिव मंच' की तरफ से एक आकर्षक प्रमाण-पत्र दिया जाएगा !

---- क्रियेटिव मंच