परिचय 1 मार्च 1956 को मुज़फ्फरपुर - बिहार में जन्म. एम्. एससी. (फिजिक्स), बी.एड. तथा एल.एल.बी. कुछ वर्षो तक अध्यापन. तीन वर्ष सिंहभूम के आदिवासी जन-जीवन का विशेष अध्ययन. कविताओं और कहानियों के अलावा शैक्षिक, सामाजिक तथा वेदान्तिक विषयों पर सक्रिय लेखन. शीर्षस्थ पत्र-पत्रिकाओं में निरंतर प्रकाशन. कुछ कविताएँ बंगला, पंजाबी, व अंग्रेज़ी में अनुदित |
तुम्हारा नाम
शायद इसलिए ही इतना प्यारा है
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फूल, चाँद और रात अब कोई नहीं लिखता |
माँ की तस्वीर मम्मी माँ मम्मा अम्मा, मइया माई हम सब की माँ, कुछ कुछ ऐसी ही होती है।
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तुम कहो तुम कहो एक बार वही बात जो मैंने कही नहीं है तुमने सुनी है बार बार वही बात तुम कहो !!! ======================================= |
इला जी की सर्जना से परिचित कराने हेतु आभार।
जवाब देंहटाएंदीपपर्व की अशेष शुभकामनाएँ।
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आइए हम पर्यावरण और ब्लॉगिंग को भी सुरक्षित बनाएं।
बहुत सुन्दर रचनाएं प्रेषित की हैं।बधाई।
जवाब देंहटाएंइला जी की कवितायें बहुत सुन्दर व बेहतरीन है
जवाब देंहटाएंख़ास तौर पर "फूल, चाँद और रात" और "माँ की तस्वीर"
आपका बहुत धन्यवाद जो मुझे इतनी उत्कृष्ट रचनाएं पढने को मिलीं
दिवाली की खूब सारी शुभकामनाएं
झिलमिलाते दीपो की आभा से प्रकाशित , ये दीपावली आप सभी के घर में धन धान्य सुख समृद्धि और इश्वर के अनंत आर्शीवाद लेकर आये. इसी कामना के साथ॰॰॰॰॰॰॰॰॰॰॰ दीपावली की हार्दिक शुभकामनाए.."
जवाब देंहटाएंregards
हर रचना सुन्दर लाजवाब संवेदनाओं से ओतप्रोत है । इला जी को बहुत बहुत बधाई आपको व आप्के मंच के सभी लोगों को दीपावली की शुभकामनायें
जवाब देंहटाएंयहाँ सदैव ही अच्छी रचनाएं पढने को मिल जाती हैं. इस बार भी बहुत ही सुन्दर कवितायें हैं. सभी कविताओं के भाव अलग हैं सभी दिल को छूती हैं
जवाब देंहटाएंआपको दिवाली की हार्दिक बधाई
सभी कविताये बहुत सुंदर
जवाब देंहटाएंआपको और आपके परिवार को दीपावली की हार्दिक शुभकामनाएं !
तुम कहो
जवाब देंहटाएंएक बार
वही बात
जो मैंने कही नहीं है
तुमने सुनी है
बार बार
वही बात
तुम कहो !!!
बहुत सुन्दर.
इला जी से परिचय के लिए creative मंच का आभार!
क्रियेटिव मंच के सभी सदस्यों को दीपावली की शुभकामनायें!
जवाब देंहटाएंबहुत सुन्दर. पढ़वाने का शुक्रिया,
जवाब देंहटाएंबहुत अच्छी कवितायेँ हैं.
जवाब देंहटाएं'इला जी से और उनकी लेखनी से परिचय कराया..
क्रिएटिव मंच का शुक्रिया.
आप का यह प्रयास सराहनीय है.
सब में कविता 'माँ की तस्वीर ' ख़ास लगी..
Wish you happy diwali.
इला जी की कविता पढ़ने पर ऐसा लगा कि आप बहुत सूक्ष्मता से एक अलग धरातल पर चीज़ों को देखती हैं।
जवाब देंहटाएंमाँ की बहुत सुन्दर तस्वीर दिखाई ईला जी ने...सभी कविताये बहुत अच्छी....
जवाब देंहटाएंदीपावली की हार्दिक शुभकामनाये...
इस दीपावली में प्यार के ऐसे दीए जलाए
जवाब देंहटाएंजिसमें सारे बैर-पूर्वाग्रह मिट जाए
हिन्दी ब्लाग जगत इतना ऊपर जाए
सारी दुनिया उसके लिए छोटी पड़ जाए
चलो आज प्यार से जीने की कसम खाए
और सारे गिले-शिकवे भूल जाए
सभी को दीप पर्व की मीठी-मीठी बधाई
बहुत सुन्दर इलाजी की कविताये
जवाब देंहटाएंमाँ ऐसी ही होती है
आभार
इला जी की कवितायें अच्छी लगी ।
जवाब देंहटाएंIla kumaar ji ki kavitayen meri pasandeeda kavitayen hai
जवाब देंहटाएंitne acche lekh se parichay kerwane k liye shukriya
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